देश की तरक्की के लिए हमें आपस में लड़ने के बजाय गरीबी, बिमारी और अज्ञानता से लड़ना होगा।

देश की तरक्की के लिए हमें आपस में लड़ने के बजाय गरीबी, बिमारी और अज्ञानता से लड़ना होगा।

Lal Bahadur Shastri

नदी में गिरने से कभी भी किसी की मौत नहीं होती है। मौत तो तब होती है जब उसे तैरना नहीं आता है।

नदी में गिरने से कभी भी किसी की मौत नहीं होती है। मौत तो तब होती है जब उसे तैरना नहीं आता है।

अपनी बातों को हमेशा ध्यानपूर्वक कहे, क्योंकि हम तो कहकर भूल जाते हैं, लेकिन लोग उसे याद रखते हैं।

अपनी बातों को हमेशा ध्यानपूर्वक कहे, क्योंकि हम तो कहकर भूल जाते हैं, लेकिन लोग उसे याद रखते हैं।

बच्चों के लिए उस कर्ज को चुकाना मुश्किल है जो उनके माता-पिता ने उन्हें बड़ा करने के लिए किया है।

बच्चों के लिए उस कर्ज को चुकाना मुश्किल है जो उनके माता-पिता ने उन्हें बड़ा करने के लिए किया है।

बोले गए शब्द ही ऐसी चीज हैं, जिसकी वजह से इंसान, या तो दिल में उतर जाता है या फिर दिल से उतर जाता है।

बोले गए शब्द ही ऐसी चीज हैं, जिसकी वजह से इंसान, या तो दिल में उतर जाता है या फिर दिल से उतर जाता है।

मानव गलती कर सकता हैं। ऐसा कोई भी प्राणी नहीं जिसने कभी कोई गलती न की हो।

मानव गलती कर सकता हैं। ऐसा कोई भी प्राणी नहीं जिसने कभी कोई गलती न की हो।

 धर्म सत्य में ही समाया हुआ हैं और ये संसार सत्य द्वारा ही चल रहा है।

धर्म सत्य में ही समाया हुआ हैं और ये संसार सत्य द्वारा ही चल रहा है।

उसकी जाति, रंग या नस्ल जो भी हो, हम एक व्यक्ति के रूप में मनुष्य की गरिमा में और उसके बेहतर, संपूर्ण और समृद्ध जीवन के लिए उसके अधिकार पर विश्वास करते हैं।

उसकी जाति, रंग या नस्ल जो भी हो, हम एक व्यक्ति के रूप में मनुष्य की गरिमा में और उसके बेहतर, संपूर्ण और समृद्ध जीवन के लिए उसके अधिकार पर विश्वास करते हैं।

हम उपनिवेशवाद और साम्राज्यवाद के अंत के लिए पूर्ण समर्थन देना अपना नैतिक कर्तव्य समझेंगे, ताकि हर जगह लोग अपने भाग्यनिर्माण के लिए स्वतंत्र हों।

हम उपनिवेशवाद और साम्राज्यवाद के अंत के लिए पूर्ण समर्थन देना अपना नैतिक कर्तव्य समझेंगे, ताकि हर जगह लोग अपने भाग्यनिर्माण के लिए स्वतंत्र हों।

मैं हमेशा अपने मन में दूसरों को ऐसी सलाह देने में असहज महसूस करता रहा हूँ, जिस पर मैं खुद अमल नहीं कर रहा होता।

मैं हमेशा अपने मन में दूसरों को ऐसी सलाह देने में असहज महसूस करता रहा हूँ, जिस पर मैं खुद अमल नहीं कर रहा होता।

मेरी समझ से प्रशासन का मूल विचार यह है कि समाज को एकजुट रखा जाये ताकि वह विकास कर सके और अपने लक्ष्‍यों की तरफ बढ़ सके।

मेरी समझ से प्रशासन का मूल विचार यह है कि समाज को एकजुट रखा जाये ताकि वह विकास कर सके और अपने लक्ष्‍यों की तरफ बढ़ सके।

जो शासन करते हैं, उन्हे देखना चाहिए कि लोग प्रशासन पर किस तरह प्रतिक्रिया करते हैं। अंततः जनता ही मुखिया होती है।

जो शासन करते हैं, उन्हे देखना चाहिए कि लोग प्रशासन पर किस तरह प्रतिक्रिया करते हैं। अंततः जनता ही मुखिया होती है।

हमारी ताकत और मजबूती के लिए सबसे जरूरी काम है। लोगों में एकता स्थापित करना।

हमारी ताकत और मजबूती के लिए सबसे जरूरी काम है। लोगों में एकता स्थापित करना।

लोगों को सच्चा लोकतंत्र और स्वराज कभी भी हिंसा और असत्य से प्राप्त नहीं हो सकता।

लोगों को सच्चा लोकतंत्र और स्वराज कभी भी हिंसा और असत्य से प्राप्त नहीं हो सकता।

 हर कार्य की अपनी एक गरिमा है और हर कार्य को अपनी पूरी क्षमता से करने में ही संतोष प्राप्त होता है।

हर कार्य की अपनी एक गरिमा है और हर कार्य को अपनी पूरी क्षमता से करने में ही संतोष प्राप्त होता है।

दोनों देशों की आम जनता की समस्याएं, आशाएं और आकांक्षाएं एक समान है। उन्हे लड़ाई – झगड़ा और गोला – बारूद नहीं , बल्कि रोटी, कपड़ा और मकान की आवश्यकता है।

दोनों देशों की आम जनता की समस्याएं, आशाएं और आकांक्षाएं एक समान है। उन्हे लड़ाई – झगड़ा और गोला – बारूद नहीं , बल्कि रोटी, कपड़ा और मकान की आवश्यकता है।

 देश के प्रति निष्ठा सभी निष्ठाओं से पहले आती है और यह पूर्ण निष्ठा है क्योंकि इसमें कोई प्रतीक्षा नहीं कर सकता कि बदले में उसे क्या मिलता है।

देश के प्रति निष्ठा सभी निष्ठाओं से पहले आती है और यह पूर्ण निष्ठा है क्योंकि इसमें कोई प्रतीक्षा नहीं कर सकता कि बदले में उसे क्या मिलता है।

हम सिर्फ खुद के लिए ही नहीं बल्कि पूरे विश्व की शांति, विकास और कल्याण में विश्वास रखते हैं।

हम सिर्फ खुद के लिए ही नहीं बल्कि पूरे विश्व की शांति, विकास और कल्याण में विश्वास रखते हैं।

आज़ादी की रक्षा केवल सैनिकों का काम नहीं है। पूरे देश को मजबूत होना होगा।

आज़ादी की रक्षा केवल सैनिकों का काम नहीं है। पूरे देश को मजबूत होना होगा।