इश्क को भी इश्क हो तो फिर मैं देखूं इश्क को भी, कैसे तड़पे कैसे रोये, इश्क अपने इश्क में। - Ishq Shayari

इश्क को भी इश्क हो तो फिर मैं देखूं इश्क को भी, कैसे तड़पे कैसे रोये, इश्क अपने इश्क में।

Ishq Shayari