अदा अदा तिरी मौज-ए-शराब हो के रही  निगाह-ए-मस्त से दुनिया ख़राब हो के रही  - Adaa Shayari

अदा अदा तिरी मौज-ए-शराब हो के रही निगाह-ए-मस्त से दुनिया ख़राब हो के रही

Adaa Shayari