चमन में शब को जो शोख़ बेनक़ाब आया, यक़ीन हो गया शबनम को आफ़ताब आया। - Aaftab Shayari

चमन में शब को जो शोख़ बेनक़ाब आया, यक़ीन हो गया शबनम को आफ़ताब आया।

Aaftab Shayari