मौत से क्या डर मिनटों का खेल है, आफत तो ज़िन्दगी है जो बरसो चला करती है ।

मौत से क्या डर मिनटों का खेल है, आफत तो ज़िन्दगी है जो बरसो चला करती है ।

Aafat Shayari

चाँद नगरी में होगा अपना आशियाना मोहब्बत में सारी दुनिया झुका दुँगा मेरे सबब जो आए हर्फ तुझ पर मैं खुद की हस्ती को मिटा दुँगा ।

चाँद नगरी में होगा अपना आशियाना मोहब्बत में सारी दुनिया झुका दुँगा मेरे सबब जो आए हर्फ तुझ पर मैं खुद की हस्ती को मिटा दुँगा ।

जब तक ना मिले हमें आपकी बाहों का आशियाना. सारा जहां लगे हमें बिल्कुल ही अंजाना।

जब तक ना मिले हमें आपकी बाहों का आशियाना. सारा जहां लगे हमें बिल्कुल ही अंजाना।

आपके लिए बेइंतहा प्यारा आशियाना सजाए कैसे? आप खुद भी तो कम नहीं गुलाब की पंखुड़ी के जैसे।

आपके लिए बेइंतहा प्यारा आशियाना सजाए कैसे? आप खुद भी तो कम नहीं गुलाब की पंखुड़ी के जैसे।

हमारे दिल के आशियाने में आइए एक बार. देखिए एक नजर प्यार से हमें कर दीजिए जां निसार।

हमारे दिल के आशियाने में आइए एक बार. देखिए एक नजर प्यार से हमें कर दीजिए जां निसार।

आया था साथ ले के मोहब्बत की आफ़तें, जाएगा जान ले के ज़माना  शबाब का!

आया था साथ ले के मोहब्बत की आफ़तें, जाएगा जान ले के ज़माना शबाब का!

बला है क़हर है आफ़त है फ़ित्ना है क़यामत है, हसीनों की जवानी को जवानी कौन कहता है।

बला है क़हर है आफ़त है फ़ित्ना है क़यामत है, हसीनों की जवानी को जवानी कौन कहता है।

आफत नहीं जो टल जाउँगी, आदत हुँ लग जाऊँगी।

आफत नहीं जो टल जाउँगी, आदत हुँ लग जाऊँगी।

 वादा करके और भी आफत में डाला आपने, जिन्दगी मुश्किल थी अब मरना भी मुश्किल हो गया।

वादा करके और भी आफत में डाला आपने, जिन्दगी मुश्किल थी अब मरना भी मुश्किल हो गया।

 DP तो बस  दिखाने के लिए है वरना आफत, मचाने के लिए तो  मेरा नाम ही  काफी है।

DP तो बस दिखाने के लिए है वरना आफत, मचाने के लिए तो मेरा नाम ही काफी है।

 जब मिला कोई हसीं जान पर आफ़त आई, सौ जगह अहद-ए-जवानी में तबीअत आई!

जब मिला कोई हसीं जान पर आफ़त आई, सौ जगह अहद-ए-जवानी में तबीअत आई!

कौन है, किसकी यहां सामत आ गयी, सुना है शहर में नयी आफत आ गयी।

कौन है, किसकी यहां सामत आ गयी, सुना है शहर में नयी आफत आ गयी।

बला है क़हर है आफ़त है फ़ित्ना है क़यामत है, हसीनों की जवानी को जवानी कौन कहता है!

बला है क़हर है आफ़त है फ़ित्ना है क़यामत है, हसीनों की जवानी को जवानी कौन कहता है!

मय-कदा है यहाँ सुकूँ से बैठ, कोई आफ़त इधर नहीं आती!

मय-कदा है यहाँ सुकूँ से बैठ, कोई आफ़त इधर नहीं आती!

यूँ तो हर लिबास में आप मेरे दिल की आफत हो, मगर साड़ी में तो उफ्फ्फ आप बस एक कयामत हो।

यूँ तो हर लिबास में आप मेरे दिल की आफत हो, मगर साड़ी में तो उफ्फ्फ आप बस एक कयामत हो।

तुम होश में जब आए तो आफ़त ही बन के आए, अब मेरे पास जब भी तुम आओ नशे में आओ।

तुम होश में जब आए तो आफ़त ही बन के आए, अब मेरे पास जब भी तुम आओ नशे में आओ।

आफ़त हमारी जान को है बे-क़रार दिल ये हाल है कि सीने में जैसे हज़ार दिल!

आफ़त हमारी जान को है बे-क़रार दिल ये हाल है कि सीने में जैसे हज़ार दिल!

आफत है तेरे खत के फाड़े हुये पुर्जे, रख्खे भी नहीं जाते फेंके भी नहीं जाते।

आफत है तेरे खत के फाड़े हुये पुर्जे, रख्खे भी नहीं जाते फेंके भी नहीं जाते।

उस पर ही भेजता है वो आफ़त भी मौत भी, शायद उसे ग़रीब का बच्चा है ना-पसंद!

उस पर ही भेजता है वो आफ़त भी मौत भी, शायद उसे ग़रीब का बच्चा है ना-पसंद!