रिश्तों में दूरियां कभी इतनी मत बढ़ा लेना, कि दरवाजा खुला हो फिर भी खटखटाना पड़े। - Darwaza Shayari

रिश्तों में दूरियां कभी इतनी मत बढ़ा लेना, कि दरवाजा खुला हो फिर भी खटखटाना पड़े।

Darwaza Shayari