काँच जैसा बनने के बाद पता चलता है कि, उसको टूटना भी उसी की तरह पड़ता है। - Kadar Shayari

काँच जैसा बनने के बाद पता चलता है कि, उसको टूटना भी उसी की तरह पड़ता है।

Kadar Shayari