रात नहीं ख्वाब बदलता है... मंज़िल नहीं करवा बदलता  है.. जज़्बा रखो हर दम जीतने का .. क्यूंकि किस्मत चाहे  बदले न बदले “समय” जरूर  बदलता  है !

रात नहीं ख्वाब बदलता है... मंज़िल नहीं करवा बदलता है.. जज़्बा रखो हर दम जीतने का .. क्यूंकि किस्मत चाहे बदले न बदले “समय” जरूर बदलता है !

Waqt Shayari

वक्त ने बदल दी, तेरे मेरे रिश्ते की परिभाषा, पहले दोस्ती, फिर अपनापन और अब अजनबी सा अहसास।

वक्त ने बदल दी, तेरे मेरे रिश्ते की परिभाषा, पहले दोस्ती, फिर अपनापन और अब अजनबी सा अहसास।

वक़्त कहता है फिर ना आऊंगा  तेरी आँखों को अब ना रुलंगा अगर जीना है तो इस पल को जी ले शायद मैं कल तक ना रुक पाउँगा ।

वक़्त कहता है फिर ना आऊंगा तेरी आँखों को अब ना रुलंगा अगर जीना है तो इस पल को जी ले शायद मैं कल तक ना रुक पाउँगा ।

समय बदला और बदली कहानी हैं, संग मेरे हसीं पलों की यादें पुरानी हैं, न लगाओ मेरे ज़ख्मो पे मरहम, मेरे पास उनकी बस यही निशानी हैं।

समय बदला और बदली कहानी हैं, संग मेरे हसीं पलों की यादें पुरानी हैं, न लगाओ मेरे ज़ख्मो पे मरहम, मेरे पास उनकी बस यही निशानी हैं।

रोना तो खूब चाहता था, पर ज़िम्मेदारीयों ने इतना वक्त भी ना दिया मुझे।

रोना तो खूब चाहता था, पर ज़िम्मेदारीयों ने इतना वक्त भी ना दिया मुझे।

वक़्त तो होता है बदलने के लिए ठहरते तो बस लम्हे हैं ।

वक़्त तो होता है बदलने के लिए ठहरते तो बस लम्हे हैं ।

समय की आंच में पत्थर भी पिघल जाते है, ख़ुशी के लम्हे गम में बदल जाते है, कौन करता है याद किसी को यारा, समय के साथ खयालात भी बदल जाते है।

समय की आंच में पत्थर भी पिघल जाते है, ख़ुशी के लम्हे गम में बदल जाते है, कौन करता है याद किसी को यारा, समय के साथ खयालात भी बदल जाते है।

दर्द बयां करना है तो शायरी से कीजिए जनाब, लोगों के पास वक्त कहां, एहसासों को सुनने का।

दर्द बयां करना है तो शायरी से कीजिए जनाब, लोगों के पास वक्त कहां, एहसासों को सुनने का।

 तुझसे मिल कर हमे रोना था बहुत रोना था, तंगी -ऐ-वक़्त -ऐ -मुलाक़ात ने रोने ना दिया।

तुझसे मिल कर हमे रोना था बहुत रोना था, तंगी -ऐ-वक़्त -ऐ -मुलाक़ात ने रोने ना दिया।

पैसा कमाने के लिए इतना वक़्त खर्च ना करो की, पैसा खर्च करने के लिए ज़िन्दगी मे वक़्त ही ना मिले।

पैसा कमाने के लिए इतना वक़्त खर्च ना करो की, पैसा खर्च करने के लिए ज़िन्दगी मे वक़्त ही ना मिले।

वो जो कपडे बदलने का शौक रखते थे, आखिरी वक्त न कह पाये कफ़न ठीक नही।

वो जो कपडे बदलने का शौक रखते थे, आखिरी वक्त न कह पाये कफ़न ठीक नही।

कुछ इस तरह से सौदा किया मुझसे मेरे वक़्त ने तजुर्बे दे कर वो मुझसे मेरी मासूमियत ले गया।

कुछ इस तरह से सौदा किया मुझसे मेरे वक़्त ने तजुर्बे दे कर वो मुझसे मेरी मासूमियत ले गया।

कल मिला वक़्त तो ज़ुल्फ़ें तेरी सुलझा लूंगा, आज उलझा हूँ ज़रा वक़्त के सुलझाने में...

कल मिला वक़्त तो ज़ुल्फ़ें तेरी सुलझा लूंगा, आज उलझा हूँ ज़रा वक़्त के सुलझाने में...

अभी साथ था अब खिलाफ है, वक्त का भी आदमी जैसा हाल है।

अभी साथ था अब खिलाफ है, वक्त का भी आदमी जैसा हाल है।

वक़्त के भी अजीब क़िस्से हैं, किसी का काटता नहीं और किसी के पास होता नहीं।

वक़्त के भी अजीब क़िस्से हैं, किसी का काटता नहीं और किसी के पास होता नहीं।

बख्शे हम भी न गए बख्शे तुम भी न जाओगे, समय जानता है हर चेहरे को बेनकाब करना।

बख्शे हम भी न गए बख्शे तुम भी न जाओगे, समय जानता है हर चेहरे को बेनकाब करना।

मेरे साथ बैठकर वक्त भी रोया एक दिन, बोला बन्दा तु ठिक है, मै ही खराब चल रहा हूँ।

मेरे साथ बैठकर वक्त भी रोया एक दिन, बोला बन्दा तु ठिक है, मै ही खराब चल रहा हूँ।

जाते वक़्त उसने मुझसे अजीब सी बात कही, तुम मेरी ज़िन्दगी हो, और मुझे मेरी ज़िन्दगी से नफरत है।

जाते वक़्त उसने मुझसे अजीब सी बात कही, तुम मेरी ज़िन्दगी हो, और मुझे मेरी ज़िन्दगी से नफरत है।

समय की रफ़्तार रुक गयी होती, शरम से आँखें झुक गयी होती, अगर दर्द जानती शम्मा परवाने का, तो जलने से पहले ही वो बुझ गयी होती।

समय की रफ़्तार रुक गयी होती, शरम से आँखें झुक गयी होती, अगर दर्द जानती शम्मा परवाने का, तो जलने से पहले ही वो बुझ गयी होती।