Chot Shayari, Status, and Images in Hindi

शब्द हथियार, शब्द ही प्रहार शब्द की चोट, शब्द ही उपचार.

शब्द हथियार, शब्द ही प्रहार शब्द की चोट, शब्द ही उपचार.

निगाहों से भी चोट लगती है जनाब,  जब कोई देख कर भी अनदेखा  कर देता है.

निगाहों से भी चोट लगती है जनाब, जब कोई देख कर भी अनदेखा कर देता है.

मोहब्बत करके निभाना जरूर, अक्सर चोट खाता है दिल बेकसूर.

मोहब्बत करके निभाना जरूर, अक्सर चोट खाता है दिल बेकसूर.

जहाँ चोट खाना, वही मुस्कुराना मगर इस अदा से कि रो दे जमाना.

जहाँ चोट खाना, वही मुस्कुराना मगर इस अदा से कि रो दे जमाना.

चोट ऐसी जगह दे के गया, जख्म फिर ना दिखाने सा रहा.

चोट ऐसी जगह दे के गया, जख्म फिर ना दिखाने सा रहा.

चाहत इतनी थी कि उनको बताई न गई, चोट दिल पर लगी इसलिए दिखाई न गई.

चाहत इतनी थी कि उनको बताई न गई, चोट दिल पर लगी इसलिए दिखाई न गई.

निगाहों से भी चोट लगती है, जब कोई अपना देखकर अनदेखा कर दे.

निगाहों से भी चोट लगती है, जब कोई अपना देखकर अनदेखा कर दे.

मेरी जान अपना ख्याल रखा करो, तुम्हें चोट लगती है तो दर्द मेरे दिल में होता है.

मेरी जान अपना ख्याल रखा करो, तुम्हें चोट लगती है तो दर्द मेरे दिल में होता है.

जिसकी चोट पर हमने सदा मरहम लगायें, हमारे वास्ते फिर उसने नये खंजर मगायें.

जिसकी चोट पर हमने सदा मरहम लगायें, हमारे वास्ते फिर उसने नये खंजर मगायें.

आज फिर नींद को आँखों से बिछड़ते देखा, आज फिर याद कोई चोट पुरानी आई.

आज फिर नींद को आँखों से बिछड़ते देखा, आज फिर याद कोई चोट पुरानी आई.

जो बातें चोट पहुँचाती है, बड़े सबक दे जाती है.

जो बातें चोट पहुँचाती है, बड़े सबक दे जाती है.

नज़र की चोट जिगर में रहे तो अच्छा है, ये बात घर की है, घर में रहे तो अच्छा है.

नज़र की चोट जिगर में रहे तो अच्छा है, ये बात घर की है, घर में रहे तो अच्छा है.

माना कि दिल की चोट दिखती नहीं, पर मतलब यह तो नही कि वो दुखती नहीं.

माना कि दिल की चोट दिखती नहीं, पर मतलब यह तो नही कि वो दुखती नहीं.

नसीहतों से कह दो अभी मैं मगरूर हूँ, हालांकि सच ये है कि बहुत मजबूर हूँ,

नसीहतों से कह दो अभी मैं मगरूर हूँ, हालांकि सच ये है कि बहुत मजबूर हूँ,

कुछ इसी तरह से रिश्तों को हम निभाते रहे, हर बार चोट खा के भी ऐसे ही मुस्कुराते रहे.

कुछ इसी तरह से रिश्तों को हम निभाते रहे, हर बार चोट खा के भी ऐसे ही मुस्कुराते रहे.