मैं 💖लव हूँ पर मेरी बात😍तुम हो, और मैं 💓तब हूँ जब मेरे साथ💖तुम हो।
❤️️दिल का हाल बताना नही आता, हमे ऐसे किसी को 😞तड़पाना नही आता, सुनना हैं हमने उनकी 😘आवाज़ को, पर हमे कोई बात करने का 🤗बहाना नही आता।
बहुत नायाब होते हैं जिन्हें हम अपना कहते हैं, चलो तुमको इज़ाजत है कि तुम अनमोल हो जाओ।
तुम्हारी एक मुस्कान से सुधर गई 😍तबियत मेरी, बताओ यार 💓इश्क करते हो या 😍इलाज करते हो।
तुझे अकेले ही 📖पढ़ूँ कोई हमसबक न रहे, मैं चाहता हूँ तुझ पर किसी का हक 😍न रहे।
उतर जाते है कुछ लोग 💓दिल में इस कदर, जिनको 💓दिल से निकालो तो जान निकल जाती है।
बड़ी अजीब सी बंदिश है उसकी 💓मोहब्बत में, न वो 🎭खुद क़ैद कर सके न हम आज़ाद हो सके।
ख़ाक उड़ती है 🌜रात भर मुझमें, कौन फिरता है 💓दर-ब-दर मुझमें, मुझ को मुझमें 💓जगह नहीं मिलती, कोई मौजूद है इस 😍क़दर मुझमें।
भटकते रहे हैं बादल की तरह, सीने से लगालो आँचल की तरह, गम के रास्ते पर ना छोड़ना अकेले, वरना टूट जाएँगे पायल की तरह।
💓दिल की 📖किताब में गुलाब उनका था, 🌜रात की नींद में ख्वाब उनका था, कितना 💖प्यार करते हो जब हमने पूछा, मर जायंगे तुम्हारे बिना ये 😍जबाब उनका था।
इसी कश्मकश का नाम 😍मोहब्बत हैं, 👀आँखों में समंदर हो फिर भी 💓 प्यास रहती हैं।
खयालों में उसके मैंने बिता दी ज़िंदगी सारी, इबादत कर नहीं पाया खुदा नाराज़ मत होना।
खुलता नहीं है हाल किसी पर कहे बग़ैर, पर दिल 💖की जान लेते हैं 💖दिलबर कहे बग़ैर।
मोहब्बत😍खुद बताती हैं कहाँ किसका ठिकाना है, किसे 👀ऑखों में रखना है किसे 💞दिल में बसाना है।
नहीं है हौसला मुझमें तुम्हें खोने का पर सुन ले, यह दुनिया मुझको खो देगी अगर तुम खो गए मुझसे।
मोहब्बत हाथ में पहनी हुई चूड़ी के जैसी है, संवरती है, खनकती है, और आखिर टूट जाती है।
दिल में तेरी ही यादें हैं, जुबां पे तेरा ही ज़िक्र है, मैं कहता हूँ ये इश्क़ है, तू कहती है बस फ़िक्र है।
तेरे प्यार का सिला हर हाल में देंगे, खुदा भी मांगे ये दिल तो टाल देंगे, अगर दिल ने कहा तुम बेवफ़ा हो, तो इस दिल को भी सीने से निकाल देंगे।
रस्मों रिवाज की जो परवाह करते हैं, प्यार में वो लोग गुनाह करते हैं, इश्क़ वो जुनून है जिसमें दीवाने, अपनी ख़ुशी से खुद को तबाह करते हैं।
जो रहते हैं दिल में वो जुदा नहीं होते, कुछ एहसास लफ़्ज़ों से बयां नहीं होते, एक हसरत है कि उनको मनाये कभी, एक वो हैं कि कभी खफा नहीं होते।
इतनी मोहब्बत ना सिखा ऐ खुदा, कि तुझसे ज्यादा उसपे ऐतबार हो जाए, दिल तोड़ के जाए वो मेरा, और तू मेरा गुनाहगार हो जाए।
हमदम तो साथ साथ चलते हैं, रस्ते तो बेवफा बदलते हैं, तेरा चेहरा है जब से आँखों में, मेरी आँखों से लोग जलते है।
यूँ भी तो राज़ खुल ही जायेगा, एक दिन हमारी मोहब्बत का, महफिल में जो हमको छोड़ कर, सब को सलाम करते हो।
तुमको हजार शर्म सही मुझको लाख ज़ब्त, उल्फ़त वो राज़ है जो छुपाया ना जायेगा।
दावे मोहब्बत के मुझे नहीं आते सनम, एक जान है जब दिल चाहे माँग लेना।
अपनी मोहब्बत पे फक़त इतना भरोसा है मुझे, मेरी वफायें तुझे किसी और का होने न देंगी।
सिर्फ इशारों में होती मोहब्बत अगर, इन अलफाजों को खुबसूरती कौन देता? बस पत्थर बन के रह जाता ताज महल अगर इश्क इसे अपनी पहचान ना देता।
प्यार की कली सब के लिए खिलती नहीं, चाहने पर हर एक चीज मिलती नहीं, सच्चा प्यार किस्मत से मिलता है, और हर किसी को ऐसी किस्मत मिलती नहीं।
जब खामोश आँखों से बात होती है ऐसे ही मोहब्बत की शुरुआत होती है तुम्हारे ही ख्यालों में खोये रहते हैं पता नहीं कब दिन और कब रात होती है।
अजब मौसम है मेरे हर कदम पर फूल रखता है, मोहब्बत में मोहब्बत का फरिश्ता साथ चलता है, मैं जब सो जाऊँ इन आँखों पे अपने होंठ रख देना, यकीन आ जायेगा पलकों तले भी दिल धड़कता है।
ना जाने मोहब्बत में कितने अफसाने बन जाते हैं, शमां जिसको जलाती है वो परवाने बन जाते हैं, कुछ हासिल करना ही प्यार की मंजिल नहीं होती, किसी को खोकर भी कुछ लोग दीवाने बन जाते हैं।
जो प्यार जो हकीकत में प्यार होता है, वो जिन्दगी में सिर्फ एक बार होता है, निगाहों के मिलते-मिलते दिल मिल जाये, ऐसा इतेफाक सिर्फ एक बार होता है।
हमें तो अपनी मोहब्बत को आजमाना था, तेरी गली से गुजरना तो एक बहाना था, करीब पहुंचे समंदर के तो ख्याल आया, हमें किसी की निगाहों में डूब जाना था।
आग के पास कभी मोम को ला कर देखूँ, हो इजाजत तो तुझे हाथ लगा कर देखूँ, दिल का मंदिर बड़ा वीरान नज़र आता है, सोचता हूँ तेरी तस्वीर लगाकर देखूँ।
रह न पाओगे हमें भुला कर देख लो, यकीन न आये तो आजमा कर देख लो, हर जगह महसूस होगी हमारी कमी, बिना मेरे महफ़िल सजा कर देख लो।
इस लफ्ज-ए-मोहब्बत का इतना सा फसाना है, सिमटे तो दिल-ए-आशिक बिखरे तो जमाना है।
सुकून मिल गया मुझ को बदनाम होकर, आपके हर एक इल्ज़ाम पे यूँ बेजुबान होकर, लोग पढ़ ही लेंगें आपकी आँखों में मोहब्बत, चाहे कर दो इनकार यूँ अनजान होकर।
मिला वो लुत्फ हमको डूब कर तेरे ख्यालों में, कहाँ अब फर्क बाकी है अंधेरे और उजालों में।
मजा आता अगर गुजरी हुई बातों का अफसाना, कहीं से तुम बयाँ करते कहीं से हम बयाँ करते।
तू मिले या न मिले ये मेरे मुकद्दर की बात है, सुकून बहुत मिलता है तुझे अपना सोचकर।
अब हम मोहब्बत के उस मुक़ाम पर आ चुके हैं, जहाँ दिल किसी और को सोचे भी तो गुनाह होता है।
मेरी तकमील में शामिल हैं कुछ तेरे हिस्से भी, हम अगर तुझसे न मिलते तो अधूरे रह जाते।
इतना भरोसा तो अपने वजूद पर रखते है, कोई हमसे कितना भी दूर हो जाये, पर हमे भुला नही सकता है।
बीते पलों को बापस नही ला सकोगे, सूखे फूलो को कभी नही खिला सकोगे, भले ही हम से दूर चले जाओ, लेकिन कभी हमे भुला नही सकोगे।
तेरी यादे भी क्या गजब की थी उनमे मैं चूर हो रहा हूँ, लिखता हूँ सिर्फ तेरे ही बारे में और मशहूर हो रहा हूँ।
हम अक्लमंद भी इतने है की उनका झूठ पकड़ लेते है, और उनसे प्यार भी इतना है की उनके झूठ को भी सच मान लेते है।
नजरे कर्म मुझ पर इतना न कर, की तेरी इश्क में मैं बाघी हो जाऊ, मुझे इतना न पिला इश्क ए जाम, की मैं इस जहर की आदि हो जाऊँ।
कुछ इतने खामोश हुआ करते है, वो शरेआम नही हुआ करते है, कुछ रिश्ते सिर्फ महसूस हुआ करते है, उनके कोई नाम नही हुआ करते है।
तेरी परछाई बन कर तेरे साथ रहने का इरादा करते हैं, कभी छोड़ेंगे नही तेरा साथ तेरे साथ मरने का वादा करते है।
चाहता हूँ तुझे अपने दिल में छुपाना, क्योंकि मेरी जान बहुत बुरा है जमाना।
जिस दिन ये आँखे तेरा दीदार करती है, उस दिन मेरे दिल की धड़कने एक नया त्यौहार करती है।
अब हम उनसे नही करते है ज्यादा बात, क्योंकि उनसे मिलके रोक नही पाते है हम अपने जज्बात।
दोनों की पहली चाहत थी, दोनों एक दूसरे को टूट कर चाहा करते थे, वो कसमे लिखा करती थी, और हम वादे लिखा करते थे।
हमे इस बात से कोई फर्क नही पड़ता आपने किसे चाहा और कितना चाहा, हम तो सिर्फ इतना जानते है हमने तो सिर्फ आपको चाहा और हद से ज्यादा चाहा..