Broken Heart Shayari in Hindi – जब मोहब्बत अधूरी रह जाए

कभी-कभी मोहब्बत पूरी नहीं होती… लेकिन उसका असर उम्रभर रह जाता है।
जिसे दिल ने अपना माना, वही जब बीच रास्ते में साथ छोड़ दे — तो दर्द लफ़्ज़ों से बयां नहीं होता, वो आँखों में, सांसों में और तन्हाई में उतर जाता है।
Broken Heart Shayari in Hindi उन्हीं अधूरी कहानियों की सच्ची आवाज़ है, जहाँ मोहब्बत तो थी… पर मुकम्मल न हो सकी।

टूटा दिल चिल्लाता नहीं, बस धीरे-धीरे अंदर से ख़ामोश हो जाता है।
हर मुस्कान के पीछे छुपे आंसू, हर चुप्पी के पीछे दबी सिसकियाँ — यही हैं उस अधूरी मोहब्बत की सबसे बड़ी पहचान।
जब आप किसी को भूलना चाहते हैं, लेकिन दिल हर रोज़ उसे ही याद करे — तब शायरी ही वो रास्ता बन जाती है जिससे हम अपने दर्द को कुछ राहत दे पाते हैं।

इस ब्लॉग में हम लाए हैं सबसे सच्ची, सबसे गहराई तक उतर जाने वाली Broken Heart Shayari in Hindi,
जो उन लफ़्ज़ों में ढली है, जिन्हें आपने कभी कहा नहीं… लेकिन दिल ने हर रोज़ महसूस किया।
क्योंकि मोहब्बत भले अधूरी रह जाए, पर उसके जज़्बात कभी खत्म नहीं होते।

एहसास दिलाती थी वो हर बार मुझे, की मै कभी उसका नहीं हो सकता !

एहसास दिलाती थी वो हर बार मुझे, की मै कभी उसका नहीं हो सकता !

सौ बार कहा दिल से, चल भूल जा उससे, सौ बार कहा दिल न, तुम दिल से नहीं कहते !

सौ बार कहा दिल से, चल भूल जा उससे, सौ बार कहा दिल न, तुम दिल से नहीं कहते !

उस टूटे दिल की खबर कहा थी उन्हें, जब इंतज़ार ही उन्हें मेरे जाने का था !

उस टूटे दिल की खबर कहा थी उन्हें, जब इंतज़ार ही उन्हें मेरे जाने का था !

उनसे मिलकर उदास ज़रूर हूँ, पर उनसे मिलने की ख्वाहिश हमेशा रहती है !

उनसे मिलकर उदास ज़रूर हूँ, पर उनसे मिलने की ख्वाहिश हमेशा रहती है !

आज कोई कस्मे खाते, आज कोई वादे करता, एक तुझसे मिलने को, सौ लाख बहाने करता.

आज कोई कस्मे खाते, आज कोई वादे करता, एक तुझसे मिलने को, सौ लाख बहाने करता.

वो एक हसीन घड़ी थी जो तुझमे घुल के निखर गये, न जाने किसकी नज़र लगी कि हम ऐसे बिखरे की मर गये !

वो एक हसीन घड़ी थी जो तुझमे घुल के निखर गये, न जाने किसकी नज़र लगी कि हम ऐसे बिखरे की मर गये !

इश्क़ कोई क्यों करता है, इसे जान लेना जरूरी है, इसके बिना कैसे जिए कोई, बिन इसके ज़िन्दगी अधूरी है!

इश्क़ कोई क्यों करता है, इसे जान लेना जरूरी है, इसके बिना कैसे जिए कोई, बिन इसके ज़िन्दगी अधूरी है!

मेरे दिल में उन्होंने घर बना लिया, अब कैसे कहूँ किराये का मकान ले लो !

मेरे दिल में उन्होंने घर बना लिया, अब कैसे कहूँ किराये का मकान ले लो !

पसंद न आये मेरा साथ तो, बता देना मेहसूस भी नहीं, कर पाओगे उतना दूर चले जायगे!

पसंद न आये मेरा साथ तो, बता देना मेहसूस भी नहीं, कर पाओगे उतना दूर चले जायगे!

मोहब्बत एक हादसा कहो या फ़साना, जी तो मैं किसी में भी नहीं पाया !

मोहब्बत एक हादसा कहो या फ़साना, जी तो मैं किसी में भी नहीं पाया !

चलो अब जाने भी दो क्या करोगे दास्ताँ सुनकर, ख़ामोशी तुम समझोगे नहीं और बयाँ हमसे होगा नहीं।

चलो अब जाने भी दो क्या करोगे दास्ताँ सुनकर, ख़ामोशी तुम समझोगे नहीं और बयाँ हमसे होगा नहीं।

उन्हें अब गैरों से फुर्सत नहीं मिलती, जो कभी मेरे पैरों की आहट से पहचानते थे!

उन्हें अब गैरों से फुर्सत नहीं मिलती, जो कभी मेरे पैरों की आहट से पहचानते थे!

पिलाने वाले कुछ तो पिला दिया होता, शराब कम थी तो पानी मिला दिया होता!

पिलाने वाले कुछ तो पिला दिया होता, शराब कम थी तो पानी मिला दिया होता!

हमसफ़र थे आप कभी मेरे ख्वाबों में, बीच सफर में ही साथ छुटेगा, ऐसा कभी सोचा न था !

हमसफ़र थे आप कभी मेरे ख्वाबों में, बीच सफर में ही साथ छुटेगा, ऐसा कभी सोचा न था !

मत कर हंगामा पीकर हमारी गली में, हम तो खुद बदनाम है तेरी मोहब्बत के नशे में!

मत कर हंगामा पीकर हमारी गली में, हम तो खुद बदनाम है तेरी मोहब्बत के नशे में!

भीगा देती है निगाहें रातों में तकिये को, अब इसके सिवा मुझसे लिपटता ही कौन है !

भीगा देती है निगाहें रातों में तकिये को, अब इसके सिवा मुझसे लिपटता ही कौन है !

जिसने हम को चाहा उसे हम चाह न सके, और जिसको हमने चाहा उसको हम पा न सके।

जिसने हम को चाहा उसे हम चाह न सके, और जिसको हमने चाहा उसको हम पा न सके।

लिखता हूँ दिल-ऐ -दस्तूर, पर शायर नहीं हूँ मैं, न हूँ मैं उनसे दूर, तो कौन सा उनके करीब हूँ मैं !

लिखता हूँ दिल-ऐ -दस्तूर, पर शायर नहीं हूँ मैं, न हूँ मैं उनसे दूर, तो कौन सा उनके करीब हूँ मैं !

 बादाम खाने से उतनी अक्ल नहीं आती, जितनी धोखा खाने से आती है।

बादाम खाने से उतनी अक्ल नहीं आती, जितनी धोखा खाने से आती है।

बेखबर हूँ उनकी मजबूरियों से, लेकिन वो बस इतना समझ ले की तिल तिल मर रहा हूँ उनके बगैर !

बेखबर हूँ उनकी मजबूरियों से, लेकिन वो बस इतना समझ ले की तिल तिल मर रहा हूँ उनके बगैर !

फिर उसकी याद, फिर उसकी आस, फिर उसकी बातें, ऐ दिल लगता है तुझे तड़पने का बहुत शौक है।

फिर उसकी याद, फिर उसकी आस, फिर उसकी बातें, ऐ दिल लगता है तुझे तड़पने का बहुत शौक है।

ज़रूरत से प्यार किया उसने मुझसे, क्या प्यार करना भी एक मज़बूरी थी उसकी ?

ज़रूरत से प्यार किया उसने मुझसे, क्या प्यार करना भी एक मज़बूरी थी उसकी ?

ज़ख़्म खरीद लाया हूं बाज़ार-ए-इश्क़ से, दिल ज़िद कर रहा था मुझे इश्क चाहिए।

ज़ख़्म खरीद लाया हूं बाज़ार-ए-इश्क़ से, दिल ज़िद कर रहा था मुझे इश्क चाहिए।

सुन लेता हूँ मैं बोली, खामोशियों में भी तेरी, गूंजती है कुछ इस कदर तेरी बातें मेरे ज़हन में!

सुन लेता हूँ मैं बोली, खामोशियों में भी तेरी, गूंजती है कुछ इस कदर तेरी बातें मेरे ज़हन में!

कोई अपना हमसे जब भी रूठ जाता है, ऐसा लगता साथ रब छूट जाता है.

कोई अपना हमसे जब भी रूठ जाता है, ऐसा लगता साथ रब छूट जाता है.

इश्क़ में भी छुट्टी चाहिए थी उन्हें, न जाने इश्क़ को क्या समझ रखा है !

इश्क़ में भी छुट्टी चाहिए थी उन्हें, न जाने इश्क़ को क्या समझ रखा है !

वक्त के बदल जाने से इतनी तकलीफ नही होती है, जितनी किसी अपने के बदल जाने से तकलीफ होती है।

वक्त के बदल जाने से इतनी तकलीफ नही होती है, जितनी किसी अपने के बदल जाने से तकलीफ होती है।

गिरना था जो आपको तो सौ मक़ाम थे, ये क्या किया कि निगाहों से गिर गए।

गिरना था जो आपको तो सौ मक़ाम थे, ये क्या किया कि निगाहों से गिर गए।

उनके ख़याल का दर्द इतना बढ़ गया है, की अब तो नींद भी आने से कतराती है !

उनके ख़याल का दर्द इतना बढ़ गया है, की अब तो नींद भी आने से कतराती है !

चाहत इतनी थी की उनको बताई न गई, चोट दिल पर लगी इसलिए दिखाई न गई,

चाहत इतनी थी की उनको बताई न गई, चोट दिल पर लगी इसलिए दिखाई न गई,

तुम चाहे जितना नाराज़ हो लो, मैं ऐतराज़ नहीं करूँगा किसी बात का !

तुम चाहे जितना नाराज़ हो लो, मैं ऐतराज़ नहीं करूँगा किसी बात का !

सुना है आज समंदर को बड़ा गुमान आया है, उधर ही ले चलो कश्ती जहां तूफान आया है।

सुना है आज समंदर को बड़ा गुमान आया है, उधर ही ले चलो कश्ती जहां तूफान आया है।

बेखबर थे वो के कभी बेइन्तेहाँ मोहब्बत किया था मैंने उनसे, और खबर इस पुरे कायनात को हो गई !

बेखबर थे वो के कभी बेइन्तेहाँ मोहब्बत किया था मैंने उनसे, और खबर इस पुरे कायनात को हो गई !